एक बार एक आदमी एक चित्रचाला में गया| उसने वहा कई मनोरम चित्र देखे| परन्तु एक चित्र को देखकर उसे बड़ा आश्चर्य हुआ| उसने देखा चित्र में जो दिखाई दे रहा था| उसका चेहरा बालो से ढका हुआ था, तथा पेरो में पंख लगे हुए थे| तब उसने चित्रकार से पूछा :
यह कीसका चित्र है |
तब चित्रकार बोला - अवसर का
आदमी बोला - अवसर का| लेकीन इसका चेहरा क्यो ढका हुआ है
चित्रकार ने उत्तर दीया - क्योकी जब यह आता है तो हम अपनी लापरवाही के कारण इसे पहचान नही पाते है
आदमी ने पूछा -परन्तु इसके पेरो में पंख क्यो लगे हुए है|
चित्रकार बोला- क्योकी एक बार आने के बाद यह उड़ जाता है तथा लोटकर फीर कभी नही आता है|
Sunday, September 7, 2008
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1 comment:
सही संदेश है , इस कहानी के द्वारा , पर पहले सs यह कहानी मालूम थी, याद नहीं कहां पढ़ चुकी हूं।
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